पौड़ी निवासी सैम्पी भण्डारी ने दिसंबर 2024 में कोतवाली पौड़ी में एक शिकायती प्रार्थना पत्र दिया जिसमें उनके द्वारा अंकित किया गया कि किसी अज्ञात व्यक्ति द्वारा whatsapp से ANT GPT क्रिप्टो करेन्सी व माइनिंग ट्रेडिंग एप डाउनलोड कराकर अधिक मुनाफा कमाने का लालच देकर वादी से 9,20,500 रू0/- की साइबर धोखाधड़ी की गयी है। इस शिकायती प्रार्थना पत्र के आधार पर कोतवाली पौडी में मु0अ0सं0-52/2024, धारा-420 भादवि बनाम अज्ञात पंजीकृत किया गया।
अपर पुलिस अधीक्षक कोटद्वार चन्द्र मोहन के पर्यवेक्षण, पुलिस उपाधीक्षक सदर त्रिवेन्द्र सिंह राणा के निर्देशन, प्रभारी कोतवाली पौड़ी कमलेश शर्मा के नेतृत्व में पुलिस टीम का गठन किया गया। विवेचना के दौरान इस साइबर धोखाधड़ी करने वाले गिरोह का जयपुर राजस्थान से संचालित होना प्रकाश में आ रहा था जिस पर पुलिस टीम द्वारा लगातार दिल्ली, हरियाणा व जयपुर राजस्थान में दबिश दी जा रही थी लेकिन अभियुक्त शातिर साइबर अपराधी होने के कारण पुलिस की भनक लगते ही अपने ठिकाने बदल रहा था जिस कारण पुलिस टीम अभियुक्त को गिरफ्तार करने में सफल नहीं हो पा रही थी। अभियुक्त शातिर किस्म का होने के कारण वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक द्वारा अभियुक्त की गिरफ्तारी हेतु 5000/- रू0 ईनाम भी घोषित किया गया था। पुलिस टीम द्वारा काफी जद्दोजहद करते हुये ठोस साक्ष्य संकलन व कुशल सुरागरसी पतारसी की गयी। काफी चुनौतियों का सामना करते हुए अथक प्रयासों के फलस्वरूप उक्त अभियोग में संलिप्त अभियुक्त अभिषेक शर्मा, पुत्र गणेश नारायण बागड़ा निवासी बगरु जयपुर राजस्थान को दिनांक 30.03.2025 को जयपुर राजस्थान से गिरफ्तार किया गया। उक्त गिरफ्तारशुदा अभियुक्त को माननीय न्यायालय के समक्ष पेश कने के पश्चात जेल भेज दिया गया है। इस मामले से सम्बन्धित अन्य अभियुक्तों की गिरफ्तारी हेतु भी पुलिस द्वारा लगातार प्रयास किया जा रहा है। पूर्व में दिनांक 21-3-25 को करन शर्मा को पानीपत से गिरफ्तार किया जा चुका है। पुलिस टीम में उप निरीक्षक प्रवीन रावत कोतवाली पौड़ी, हेड कांस्टेबल अनिल बिजल्वाण कांस्टेबल गंभीर सिंह शामिल थे।
